कला चौपाल द्वारा तीन दिवसीय नाट्य समारोह का शुभारंभ, माच पर आधारित “राजयोगी भर्तरी माच” की प्रस्तुति

उज्जैन ।(स्वदेश mp न्यूज़… राजेश सिंह भदौरिया बंटी) शहर की रंगसंस्था कला चौपाल के द्वारा दिनांक 17 से 19 जून 2022 तक मध्यप्रदेश की जनपदीय बोलियों पर आधारित तीन दिवसीय नाट्य समारोह का आयोजन कालिदास अकादमी परिसर स्थित अभिरंग नाट्यगृह में किया जा रहा है । कला चौपाल लोक कला एवं रंगकर्म के क्षेत्र में नवाचारों को पल्लवित करने के लिए संकल्पित है । हमारे सामाजिक एवं सांस्कृतिक कर्तव्यों की प्रतिबद्धता को निभाने के उद्देश्य से संस्था कला चौपाल की स्थापना की गई है ।

समारोह में प्रथम दिवस प्रो. अखिलेश कुमार पाण्डेय, कुलपति, विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन द्वारा दीप प्रज्ज्वलन कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया । पहले दिवस की नाट्य प्रस्तुति में मालवा की लोकनाट्य शैली माच पर आधारित “राजयोगी भर्तरी माच” की प्रस्तुति उज्जैन के माँ ब्रह्माणी लोककला माच मण्डली के कलाकारों द्वारा प्रस्तुत हुई । राजा भर्तरी अवंतिका के प्रतापी राजा थे उनकी तीन रानियों में रानी पिंगला सबसे प्रिय थी गांव में पागल शेर आकर बहुत आतंक था । गाँव वालों के निवेदन पर राजा शेर का विनाश कर करते है जंगल से निकलते समय गुरु गोरखनाथ, राजा को किन्हीं कारणों से श्राप देते है । राजा भर्तरी श्राप मुक्ति के लिए गोरखनाथ से निवेदन करते है तब वे राजा को शॉप मुक्त करते है इससे राजा का मोह भंग होता है और वे राज योग घारण करना चाहते है, गुरु गोरखनाथ उनकी परीक्षा लेते है, जिसमें उन्हें अपनी पत्नी को माँ का संबोधन देना होता है और भिक्षा ग्रहण करनी होती है तब राजा का योग सफल होता है इसके बाद ही राजा भर्तरी राजयोगी भर्तरी कहलाने लगे । इस माच प्रस्तुति का निर्देशन  बाबूलाल देवड़ा ने किया तथा साथी कलाकारों में टीकाराम भाटी, सोनू बोड़ाना,  तेजू सोलंकी,  विष्णु चंदेल, सुधीर सांखला,  बाबू भाटी,  बबलू देवड़ा,पप्पू चौहान, रमेश असवार एवं दीलीप चौहान की भागीदरी रही ।