शहीद गजेन्द्र सुर्वे के नाम पर बने द्वार को तोड़ने से आक्रोश, लिखित आश्वासन के बाद समाप्त हुआ प्रदर्शन

उज्जैन।(स्वदेश mp न्यूज़… राजेश सिंह भदौरिया बंटी)स्वतंत्रता दिवस के चार दिन पूर्व ही उज्जैन में एमपीआरडीसी ने देश के लिए अपने प्राणों की आहूति देने वाले शहीद गजेन्द्र सुर्वे के नाम पर बने द्वार को तोड़ कर गिरा दिया। इस घटना से आक्रोशित शहीद का परिवार, नेता प्रतिपक्ष के साथ ही क्षेत्रीय रहवासियों ने प्रदर्शन कर धरना दे दिया। मामले में निगम कमिश्नर को भी शिकायत की गई, कमिश्नर द्वारा कलेक्टर, एमपीआरडीसी के अधिकारियों से बातचीत के बाद एमपीआरडीसी द्वारा लिखित में रोड़ निर्माण के बाद भव्य शहीद द्वार बनाने हेतु आश्वस्त किया जिसके बाद धरना समाप्त हुआ।

वर्ष 2006 में शहीद गजेन्द्र सुर्वे शहीद हुए थे, उस दौरान सुदामा नगर के रोड़ पर स्थित भगवान शांतिनाथ के नाम से बनाया द्वार और शहीद गजेन्द्र सुर्वे के नाम से 4 लाख से अधिक की लागत से दो द्वारों का निर्माण किया था। इन दोनों गेटों को एमपीआरडीसी द्वारा रातोंरात तोड़ दिया गया। यह दोनों द्वार अब भी नगर निगम की ही संपत्ति थे, किसी प्रकार का एमपीआरडीसी से कोई अंडर टेकिंग नहीं हुआ और दोनों द्वारा अवैध तरीके से तोड़ दिये गये। घटना से आक्रोशित शहीद के पिता अशोक सुर्वे, शहर कांग्रेस अध्यक्ष रवि भदौरिया, राकेश यादव, अभिषेक लाला, डॉ. जितेन्द्र परमार, सुदर्शन गोयल, संगठन मंत्री अजय राठौर आदि टूटे गेट के स्थान पर ही गजेन्द्र सुर्वे की तस्वीर रखकर धरने पर बैठ गए। मौके तहसीलदार अनिरूध्द मिश्रा पहुंचे। रवि राय द्वारा निगम कमिश्नर को घटना से अवगत कराया, कमिश्नर द्वारा कलेक्टर से बात की। नगर निगम कमिश्नर से फोन पर बात की। अधिकारियों की आपसी बातचीत के बाद तय हुआ कि एमपीआरडीसी रोड़ निर्माण के दौरान ही शहीद की याद में भव्य द्वार का निर्माण करेगा जिसका लिखित में पत्र नगर निगम कमिश्नर, पार्षद को दिया गया। तत्पश्चात धरना समाप्त हुआ। मामले में नगर निगम की संपत्ति को नुकसान पहुंचाने पर झोनल अधिकारी ने देवासगेट थाने में शिकायत भी दर्ज कराई।
6 महीने पहले शहीद का मकान तोड़ा और अब द्वार
6 महीने पहले ही गजेन्द्र सुर्वे के मकान को तोड़ दिया और आज उनके नाम के द्वार को भी तोड़ दिया। कांग्रेस पार्टी के नेताओं ने धरना प्रदर्शन के माध्यम से कई बार विरोध दर्ज कराया वहीं आज शहीद के नाम बना द्वार तोड़ दिया गया।